Noida: दिल्ली एनसीआर क्षेत्र में बढ़ते प्रदूषण और लोगों की अच्छी परिवहन सुविधा देने के लिए दिल्ली मेट्रो ने नई पहल शुरू की है। बुधवार से 40 अतिरिक्त मेट्रो का संचालन शुरू किया है। इससे अब इससे यात्रियों को मेट्रो ट्रेन के लिए लंबा इंतजार और भीड़ का सामना नहीं करना पड़ेगा। इसके पहले दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने प्रदूषण रोकने के लिए 28 विभागों के साथ बैठक कर मेट्रो व दिल्ली ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (डीटीसी) के बसों की फ्रीक्वेंसी बढ़ाने को कहा था। जिसके बाद रेल कॉरपोरेशन यानी डीएमआरसी ने अतिरिक्त मेट्रो का संचालन शुरू किया है।
ग्रैप सिस्टम का दूसरा चरण लागू
गौरतलब है कि नोएडा, ग्रेटर नोएडा और दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए ग्रेडेड रिस्पांस कएक्शन प्लान (ग्रैप) के दूसरे चरण की पाबंदियां लागू हैं। जिसके तहत लोगों से निजी वाहनों की जगह मेट्रो, बस आदि का उपयोग करने की अपील की जा रही है।
2-3 मिनट के अंतराल पर मिलेगी मेट्रो
बैठक में पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा था कि जिन मेट्रो स्टेशन पर मेट्रो 7-8 मिनट में आती है, वहां 5-6 मिनट में आएगी. वहीं, जहां पर 5-6 मिनट में आती थी वहां पर मेट्रो 2-3 मिनट में आएगी। वहीं, शनिवार और रविवार को अवकाश होने के कारण यात्रियों की संख्या कम रहती है, ऐसे में अतिरिक्त मेट्रो ट्रेन का संचालन नहीं होगा।
Noida/Ghaziabad: दीवाली से पहले हर साल की तरह राजधानी दिल्ली एनसीआर में हवा जहरीली होने लगी है। नोएडा, गाजियाबाद सहित पश्चिम यूपी में पिछले दो दिनों से चल रही हल्की हवा के चलते प्रदूषण में थोड़ी कमी आई है। लेकिन हवा की गुणवत्ता बेहद खराब बनी हुई है। एयर क्वालिटी इंडेक्स के मुताबिक गाजियाबाद के लोनी में हवा सबसे ज्यादा प्रदूषित बनी हुई है।
ये तो प्रदूषण बढ़ने की शुरुआत है
गाजियाबाद की बात करें तो लोनी इलाके में हवा सबसे ज्यादा प्रदूषित है। यहां पर एक्यूआई 335 दर्ज किया गया। नोएडा के सेक्टर-62 में एक्यूआई लेवल 242 है। जबकि ग्रेटर नोएडा के नॉलेज पार्क-तीन में एक्यूआई लेवल 300 दर्ज किया गया।
पश्चिम यूपी में प्रदूषण के चलते हाल बेहाल
गाजियाबाद, नोएडा और ग्रेटर नोएडा में ही प्रदूषण का स्तर नहीं बढ़ रहा है। गाजियाबाद से सटे मेरठ में एक्यूआई लेवल 158 दर्ज किया गया। हालांकि यहां अभी प्रदूषण का स्तर मॉडरेट है। यानि नोएडा, ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद से यहां हालात अभी सामान्य हैं। लेकिन आने वाले दिनों में यानि दीवाली तक यहां भी प्रदूषण स्तर खतरनाक पहुंचने की आशंका है।
Noida: दिल्ली एनसीआर में बढ़ते प्रदूषण के चलते यहां की हवा जहरीली हो गई है। दिल्ली, नोएडा, ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद में बढ़ते प्रदूषण के चलते हालात बेकाबू होने लगे हैं। आलम ये है कि यहां सांस लेना भी अब दूभर हो रहा है। जो लोग पहले से सांस की बीमारी से जूझ रहे हैं, उनके लिए ये मौसम बेहद घातक साबित होने लगा है। स्वस्थ्य लोगों को भी सांस लेने में दिक्कत होने लगी है। साथ ही आंखों में चुभन महसूस हो रही है। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में कक्षा-5 तक के स्कूल बंद कर दिये गये हैं।
जहरीली हुई हवा
आलम ये है कि AQI लेवल तेजी से बढ़ने के चलते हालात चिंताजनक हो गये हैं। शुक्रवार को नोएडा और ग्रेटर नोएडा में एयर क्वालिटी इंडेक्स का लेवल तेजी से बढ़ा था। यहां पर एक्यूआई 400 के पार हो चुका है। नोएडा, ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद में चारों तरफ धुआं ही धुआं नजर आ रहा है। ऐसे में केंद्रीय वायु प्रदूषण आयोग ने पूरे एनसीआर में ग्रेडेड रिस्पांश एक्शन प्लान-3 लागू कर दिया है। GRAP-3 लागू होते ही निर्माण कार्यों में रोक लगा दी गई है। साथ ही बीएस-3 और बीएस-4 वाहनों पर पाबंदी लगा दी गई है।
और भी बिगड़ेंगे हालात
मौसम विभाग ने चेतावनी जारी की है कि आने वाले दिनों में हालात और भी चिंताजनक होने वाले हैं। नोएडा और ग्रेटर नोएडा में प्रदूषण और भी भयंकर रूप धारण कर सकता है। ऐसे में सभी से अनुरोध किया जा रहा है कि वो प्रदूषण को बढ़ने से रोकने के लिए अपनी भागेदारी दे सकते हैं। जैसे कि डीजल वाहनों का प्रयोग ना करें, कहीं पर भी कचड़ा ना जलाएं, अगर जरूरी ना हो तो घर से बाहर ना निकलें। अगर दिल्ली एनसीआर में एक्यूआई की बात करें तो दिल्ली में AQI-700 के पार हो चुका है। वहीं नोएडा में 402 और ग्रेटर नोएडा में ये लेवल 500 के भी पार जा चुका है।
Greater Noida West: दिल्ली एनसीआआर में इस समय हवा जहरीली हो गई है। जिससे एनसीआर के नोएडा समेत अन्य शहरों में रह रहे लोगों को सांस भी लेना दूभर होता जा रहा है। जिसको लेकर बहुत चिंतित हैं। इसी कड़ी में बढ़ते वायु प्रदूषण और सरकार की निष्क्रियता के खिलाफ ग्रेटर नोएडा वेस्ट के एक मूर्ति चौक पर सैंकड़ो लोग प्रदर्शन किया। सामूहिक जिम्मेदारी के साथ एकजुट हुए नागरिकों ने वायु प्रदूषण के खतरनाक स्तर से निपटने के लिए एक प्रभावी योजना की मांग की। इसके साथ ही दुमघोटु वायु प्रदूषण रोकने के लिए व्यापक उपाय करने और सरकारी हस्तक्षेप की मांग की।
आंखों में जलन और सांस लेने में हो रही कठिनाई
नेफोवा के अध्यक्ष अभिषेक कुमार ने कहा कि बिगड़ती हवा की गुणवत्ता के कारण कई नागरिकों को आंखों में जलन और सांस लेने में कठिनाई होती है। अभिषेक ने सरकार को अपने लोगों के स्वास्थ्य और कल्याण की रक्षा करने की अपनी जिम्मेदारी याद करने की अपील की। प्रदूषण संकट से निपटने के लिए एक प्रभावी समाधान की शीघ्र तैयारी और निष्पादन करने की मांग की।
वायु प्रदूषण का प्रभाव बच्चों पर अधिक
एनसीआर पेरेंट्स एसोसिएशन फाउंडर व शिक्षा कार्यकर्ता सुखपाल सिंह तूर ने बताया के वायु प्रदूषण के कई प्रतिकूल स्वास्थ्य प्रभावों से वयस्कों की तुलना में बच्चों को अधिक खतरा है। हमें उनके भविष्य की सुरक्षा के लिए वायु गुणवत्ता में सुधार बेहद जरूरी है। प्रदर्शनकारियों की एकजुट होकर कहा कि सरकार वायु प्रदूषण के गंभीर मुद्दे को दूर करने के लिए निर्णायक कदम उठाए। सार्वजनिक स्वास्थ्य और पर्यावरण की रक्षा के लिए तेज और प्रभावी उपायों के महत्व पर जोर दिया जाय। यह विरोध प्रदर्शन सरकारी अधिकारियों के लिए कार्रवाई का आह्वान और एनसीआर के निवासियों की भलाई को प्राथमिकता देने की तत्काल आवश्यकता के लिए था।
लोगों ने शुरू किया पलायन
मिहिर गौतम ने कहा कि आँखों में जलन और सांस से सम्बंधित समस्याओं को चलते लोगों ने पलायन करना शुरू कर दिया है। इस सम्बन्ध में अगर कोई एक्शन नहीं लिया गया तो इसके रोजगार के अवसर और एनसीआर की अर्थव्यवस्था पर दूरगामी परिणाम होंगे। दीपक गुप्ता, राज कुमार, ज्योति, अनुपमा, गंगेश,राज कुमार और अन्य प्रदर्शनकारियों ने बढ़ते प्रदुषण पर चिंता जताते हुए कहा कि सरकार अगर अब भी नहीं जागती तो मजबूरन बड़े पैमाने पर प्रदर्शन करना पड़ेगा।
New Delhi: देश की राजधानी दिल्ली में एक बार फिर प्रदूषण का स्तर खतरनाक मोड़ पर पहुंच गया है। राजधानी के अधिकांश इलाकों में बुधवार को वायु गुणवत्ता सूचकांक गंभीर श्रेणी में दर्ज किया गया। आईपी एक्सटेंसन इलाके में एक्यूआई सुबह छह बजे के करीब 946 दर्ज किया गया। बुधवार को कोहरे की वजह से विजिबिलिटी का स्तर भी बहुत कम रहा। मौसम विभाग के अनुसार अगले पांच दिनों के दौरान दिल्ली वाले तापमान में कमी से लोगों कोहरा और कंपकपा देने वाली ठंड से परेशानी का सामना करेंगे।
आईपी एक्सटेंसन में एक्यूआई पहुंचा 946
नई दिल्ली में वर्तमान PM2.5 सांद्रता WHO द्वारा 24 घंटे वायु गुणवत्ता दिशानिर्देश मान द्वारा दी गई अनुशंसित सीमा से 18.3 गुना अधिक है। आईपी एक्सटेंसन में एक्यूआई 946, आनंद विहार में एक्यूआई 618, डीआईटी रोहिणी में 601, आईटीआई जहांगीरपुरी में 568, अशोक विहार फेज टू में 518, आनंद पर्वत में 416, अलीपुर में 400 दर्ज किया गया. राजधानी में हवा की गति कम होने से प्रदूषण का स्तर बेहद खराब श्रेणी में बरकरार है। बीते चार दिनों से हवा बेहद खराब श्रेणी में दर्ज की जा रही है। सोमवार को अधिकतर इलाकों की आबोहवा बेहद खराब श्रेणी में रही। वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 317 दर्ज किया गया, जोकि बेहद खराब श्रेणी है। यह शनिवार के मुकाबले तीन सूचकांक वृद्धि हुई है. एनसीआर में एक बार फिर दिल्ली की हवा सबसे अधिक प्रदूषित दर्ज की गई।
अगले 5 दिनों में तापमान में कमी का पूर्वानुमान
भारत मौसम विभाग दिल्ली मानक वेधशाला सफदरजंग के मुताबिक बुधवार को दिल्ली में सुबह और शाम के समय कोहरे का असर दिखेगा। 13 दिसंबर को दिल्ली का अधिकतम तापामन 25 डिग्री रहने की संभावना है, जो औसत से दो डिग्री ज्यादा है। जबकि न्यूनतम तापमान 7 डिग्री सेल्सियस दर्ज होने का पूर्वानुमान है. न्यूनतम तापामन सामान्य से दो डिग्री कम है। 18 दिसंबर तक दिल्ली में कंपकंपा देने वाली का लोगों को सामना करना पड़ सकता है।
न्यूनतम तापमान औसत से 2 डिग्री कम
आईएमडी के मुताबिक पिछले 24 घंटे के दौरान दिल्ली और आसपास के इलाकों में अधिकतम तापमान 24.8 डिग्री दर्ज किया गया जो सामान्य से दो डिग्री ज्यादा रहा। वहीं मंगलवार को न्यूनतम तापमान 6.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो सामान्य से दो डिग्री कम रहा। सोमवार को न्यूनतम तापमान 6.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था, जो औसत से तीन डिग्री कम था। रविवार को न्यूनतम तापमान 8.3 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया , जो सामान्य से एक डिग्री कम था। 11 दिसंबर को दिन के समय अधिकतम तापमान की बात करें तो 24.8 डिग्री दर्ज किया गया, जो मौसम के हिसाब से सामान्य तापमान था।
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