ग्रेनो के नॉलेज पार्क के शारदा विश्वविद्यालय में आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को लगभग 700 प्री स्कूल किट सौंपी गई. यूपी की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने शुक्रवार को आंगनबाड़ी केंद्रों को बाल सुलभ बनाने की कवायद के तहत किट सौंपी. इसमें ट्राई साइकिल,रीडिंग हॉर्स एबीसीडी सेट,एनिमल सेट,ब्लैक सेट चेयर्स स्टोरी बुक,रिंग क्ले समेत अन्य सामग्री है. समारोह का शुभारंभ राज्यपाल आनंदीबेन पटेल,डीएम मनीष कुमार वर्मा,सांसद डॉ महेश शर्मा,विश्वविद्यालय के चांसलर पीके गुप्ता,प्रो चांसलर वाईके गुप्ता,जीबीयू के वाइस चांसलर अरविंद कुमार सिन्हा ने दीप प्रवज्जलन करके किया.

"सरकार और समाज आंगनबाड़ी पर ध्यान दें"
इस दौरान राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा कि आर्थिक रूप से कमजोर लोग शिक्षा के लिए अपने बच्चों को आंगनबाड़ी केंद्रों में भेजते हैं. जबकि आर्थिक रूप से मजबूत लोग क्रेच में भेजते हैं. सरकार इन दोनों के बीच के अंतर को खत्म करना चाहती है. सरकारी स्कूलों के शिक्षकों की तरह ही आंगनबाड़ी कर्मचारियों को भी बड़े-बड़े संस्थानों में भेजकर ट्रेनिंग दिलवाई जाएगी और सबको नॉन टीचिंग कार्य से मुक्ति मिलेगी. उन्होंने कहा कि सरकार और समाज को सबसे पहले आंगनबाड़ी पर ध्यान देना चाहिए. जब हमारी नींव मजबूत होगी तब ही हम विकसित भारत बन सकते हैं. विकसित देश हम किसे कहेंगे, जहां सबसे ज्यादा लोग पढ़े लिखे हो. जो देश को प्रगति की तरफ ले जा सके. हमें सेहत और जो बीमार है उन्हें जल्द से जल्द और अच्छा इलाज मिल सके. हमारे बच्चे कुपोषण का शिकार न हों. इसके लिए सबको आगे आना चाहिए यही बच्चे हमारा भविष्य है.

बच्चों को संस्कार स्कूल और घर में मिलता- आनंदीबेन
राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने आगे बताया कि सही खुराक न मिलने के कारण सवा महीने के करीब 431 बच्चों की मौत मां के पेट में हो ही गई. रिसर्च से पता चला है विश्व में 7-8 आयु के बच्चे 80 प्रतिशत तक सबकुछ सिख जाते बाकी का 20 प्रतिशत पूरी जिंदगी लग जाती है. बच्चों को संस्कार स्कूल और घर में मिलता है. इसलिए ऐसा माहौल बनाएं जो उन्हें अच्छा संस्कार मिल सके. आंगनबाड़ी सबसे स्वस्थ, स्वच्छ सुंदर केंद्र ऐसी बड़ी कोई संस्था नहीं है. प्री स्कूल की किट में सहयोग देने वाली संस्थाओं को उन्होंने धन्यवाद और सर्टिफिकेट दिए.

आनंदीबेन ने कार्यकत्रियों को कलयुग की यशोदा कहा
शारदा विश्वविद्यालय के चांसलर पीके गुप्ता ने राज्यपाल के बारे में कहा कि आप इस उम्र इतने लगन से काम कर रही है ऐसा मैनें अब तक नहीं देखा. आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों से कहा कि आप कलयुग की यशोदा है. जो बच्चों को कृष्ण के रूप में अच्छे संस्कार देकर बड़ा कर रही हैं और विकसित भारत का एक हिस्सा बनाने की कोशिश कर रही हैं. हमारे देश हर व्यक्ति स्वस्थ और शिक्षित रखना हम सबका काम है. अगर आपको शारदा की तरफ से कोई सहयोग चाहिए तो हम उसके लिए तैयार है.