पाइपलाइन बिछाने वाले कॉन्ट्रेक्टरों पर CM योगी का हंटर, पैसों की बर्बादी पर दिया ये बड़ा बयान !

अब प्रदेश में पाइपलाइन बिछाने वाली एजेंसियों की शामत आ गई है. राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन अब इन कॉन्ट्रैक्टर और एजेंसियों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करने की तैयारी में है. दरअसल प्रदेश के कई जिलों से पाइपलाइन बिछाने के बाद सड़क की मरम्मत ना किए जाने की शिकायतें आ रहीं थीं. जिसके बाद ये फैसला लिया गया है कि ऐसी एजेंसियों के खिलाफ ब्लैकलिस्टिंग और कॉन्ट्रैक्टर को जेल भेज दिया जाएगा. इसके साथ ही संबंधित अधिशासी अभियंता के खिलाफ सस्पेंशन की कार्रवाई भी की जाएगी. हाल ही में की गई विभागीय समीक्षा के दौरान कई जिलों से शिकायतें आ रहीं थीं, कि पाइपलाइन बिछाने और हाइड्रो टेस्टिंग के बाद भी सड़कों की मरम्मत का काम नहीं किया गया है. जिसकी वजह से दिक्कतें आ रही हैं. जनप्रतिनिधियों ने भी इसको लेकर शिकायत की थी. बता दें कि पाइपलाइन बिछाने के लिए काटी गई सड़कों की मरम्मत का काम संबंधित एजेंसी का ही होता है. मगर कई एजेंसियां इस काम में लगातार लापरवाही बरत रही हैं.

प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव ने जारी किए निर्देश
नमामि गंगे और ग्रामीण जलापूर्ति विभाग के प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव ने निर्देश जारी कर दिए हैं. जिसके तहत राज्य पेयजल एवं स्वच्छता मिशन के अधिशासी निदेशक द्वारा ऐसी सभी एजेंसियों और अधिशासी अभियंताओं के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. जिसके बाद मिशन के अधिशासी निदेशक बृजराज सिंह यादव ने जल निगम ग्रामीण के सभी अधिशासी अभियंताओं और जल जीवन मिशन के सभी कॉन्ट्रैक्टर को पत्र लिखा है. अधिशासी निदेशक की ओर से लिखे गए पत्र में सभी अधिशासी अभियंताओं और कॉन्ट्रैक्टर को निर्देश जारी किया गया है. जिसके अनुसार शारदीय नवरात्रि यानि 3 अक्टूबर से पहले पाइपलाइन बिछाने के लिए काटी गई सड़कों की मरम्मत और रेस्टोरेशन का काम पूरा किया जाना है. साथ ही जिन योजनाओं में एफएचटीसी रिपोर्ट किया गया लेकिन वास्तविक रूप से पानी की सप्लाई नहीं हो रही है. वहां तुरंत नल से क्लोरीन युक्त जल की नियमित सप्लाई करने को भी कहा गयै है. ऐसा न करने वाले संबंधित इंजीनियर और कॉन्ट्रैक्टर के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी.

डेढ़ दर्जन से अधिक इंजीनियरों पर भी गिर सकती है गाज
पाइपलाइन बिछाने के बाद सड़कों की मरम्मत न करने और कनेक्शन की गलत रिपोर्टिंग के मामले में डेढ़ दर्जन से अधिक अधिशासी अभियंताओं पर भी कार्रवाई हो सकती है. इस लिस्ट में पूर्वांचल के 8 अधिशासी अभियंता, पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 6 और अवध क्षेत्र में तैनात तीन अधिशासी अभियंताओं की शिकायतें सबसे ज्यादा पाई गई हैं. इन अभियंताओं को जल्द से जल्द सुधार कर सभी शिकायतों को दूर करने का अल्टीमेटम जारी कर दिया गया है. अगर इनके काम में सुधार नहीं होता है तो विभाग इन अधिशासी अभियंताओं के खिलाफ निलंबन की कार्रवाई करेगा.

By Super Admin | August 29, 2024 | 0 Comments

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