Greater Noida: ग्रेटर नोएडा स्थित गवर्नमेंट इन्स्टीटयूट ऑफ मेडिकल साइंसेस का गजब कारनामा सामने आया है। दरअसल यहां के कर्मचारी 17 दिन तक शव फ्रीजर में रखकर भूल गए थे। अब इस मामले को उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने जांच के आदेश दिए हैं। इसके साथ ही निदेशक से स्पष्टीकारण तलब करने के लिए चिकित्सा शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को निर्देश भी दिए हैं।

ब्रेन हैमरेज से वृद्ध की हुई थी मौत, परिजनों को नहीं बताया


जानकारी के मुताबिक सेक्टर ईटा 1 में रहने वाले सोहन पाल (70) की ब्रेन हैमरेज से मौत हो गई थी। इसके बाद उनके शव को 17 दिन तक शव अस्पताल के शव गृह में फ्रीजर में कर्मचारियों ने रख दिया। परिजनों को मौत की सूचना न होने की वजह से शव नहीं ले गए। एटा के रहने वाले तमन ने बताया कि वह 13 साल से सोहनपाल के साथ रह रहे थे। 22 अगस्त को उनकी तबीयत खराब होने पर GIMS अस्पताल में भर्ती कराया था। सोहनपाल को ब्रेन हैमरेज हुआ था। ऐसे में डॉक्टरों की निगरानी में दो महीने चले उपचार के दौरान 23 सितंबर मौत हो गई थी। उनके मरने के बाद डेड बॉडी को फ्रीजर में रख दिया गया, जहां वह 17 दिन तक रखी रही।


डिप्टी सीएम ने जांच कमेटी गठित की


वहीं, इस मामले में उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. आनंद मोहन वर्मा की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय समिति गठित कर दी गई है। चिकित्सा अधीक्षक डॉ. शैलेंद्र तिवारी व वरिष्ठ परामर्शदाता डॉ. धीर सिंह को सदस्य बनाया गया है। जांच के बाद दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। जांच रिपोर्ट एक सप्ताह में देने के आदेश दिए गए हैं।